जहाल माओवादी ने किया गढचिरौेली पुलिस और सीआरपीएफ बल के सामने आत्मसमर्पण



– महाराष्ट्र सरकार ने घोषित किया था कुल 06 लाख रुपयों का ईनाम
The गढ़विश्व
गढचिरौेली : सरकार द्वारा घोषित आत्मसमर्पण योजना के कारण और हिंसा के जिवन से तंग आकर वरिष्ठ माओवादीयों समेत कई जहाल माओवादीयो ने पुलिस के सामने आत्मसमर्पण किया हैं। साथ ही पुलिस बल द्वारा आत्मसमर्पीत माओवादीयों के पुनर्वास योजना के चलते अबतक कुल 662 माओवादीयों ने गढचिरौली पुलिस बल के सामने आत्मसमर्पण किया हैं। आज 28 मई 2024 को कुल 06 लाख इनामी जहाल माओवादी गणेश गट्टा पुनेम (उम्र 35) रा. बेच्चापाल, तह. भैरमगड, जि. बिजापुर (छ.ग.) इसने सीआरपीएफ के पुलिस उप-महानिरीक्षक जगदीश मीणा के सामने आत्मसमर्पण किया उसके बाद उन्होने उसे गढचिरौली पुलिस बल को सौप दिया।
आत्मसमर्पीत जहाल माओवादी गणेश पुनेम 2017 मे सप्लाय टिम (भैरमगड एरीया) दलम में सदस्य पद पर भरती होकर जनवरी 2018 तक कार्यरत था। 2018 में सप्लाय टिम में उप-कमांडर के रुप मे पदोन्नती होकर अबतक उसी पदपर कार्यरत । 2017 मिरतुर जि. बिजापुर (छ.ग.) और 2022 तिम्मेनार जि. बिजापुर (छ.ग.) वन क्षेत्र मे हुए मुठभेड में शामील था। महाराष्ट्र सरकारने गणेश पुनेम पर कुल 06 लाख रुपयों का इनाम घोषित किया था। आत्मसमर्पण के बाद पुनर्वसन के लिए केंद्र और राज्य सरकार की ओर से गणेश पुनेम को कुल 5 लाख रुपयों का ईनाम घोषित किया हैं।

आत्मसमर्पण के कारण

– माओवादी दलम मे दिन-रात वन मे घुमते हुए जिवन बिताना पडता हैं, अगर किसी को स्वास्थ्य को लेकर कोई समस्या हुई तो उसपर ध्यान नही दिया जाता।
– दलम के वरिष्ठ नेता कहते हैं की, आंदोलन एवं लोगो के लिए पैस इकठ्ठा करना पडता हैं। वास्तव में इकठ्ठा किया गया पैसा वरिष्ठ माओवादी लोगो के विकास कार्य के लिए न करते हुए स्वयं के लिए इस्तेमाल करते हैं।
– वरिष्ठ माओवादी नेता केवल अपने फायदे के लिए गरिब आदिवासी युवाओ का इस्तेमाल करते हैं।
– दलम में रहते हुए किसी का विवाह हो जाए तो भी उसे वैवाहिक जीवन जीने का अधिकार नही हैं।
# गढचिरौली पुलिस बल द्वारा चलाए जाने वाले आक्रामक माओवादी विरोधी अभियानों के वजह से माओवादी गतिविधीयों की कमर तोड दी हैं।
– वरिष्ठ माओवादी नेता केवल पुलिस मुखबिर होणे के संदेह पर हमारे ही भाई बहनो की हत्या करणे को कहते हैं।

गढ़चिरौली पुलिस बल द्वारा चलाए जाने वाले प्रभावी माओवादी विरोधी अभियान के कारण और सरकारने माओवादीयों कों आत्मसमर्पण का सुनहरा अवसर उपलब्ध करा देने के कारण सन्मानपुर्वक जीवन बिताने के लिए वर्ष 2022 से 2024 तक कुल 14 जहाल माओवादीयोंने आत्मसमर्पण किया हैं। उक्त माओवादी के आत्मसमर्पण कर मुख्याधारा में लाने की कार्यवाही सीआरपीएफ के पुलिस उप-महानिरीक्षक (परिचालन) जगदीश मीणा एवं गढचिरौली पुलिस अधीक्षक नीलोत्पल के मार्गदर्शन में उप–कमाडेण्ट नीतीन कुमार के नेतृत्व में आर.एफ.टी (रेंज फिल्ड टिम) के इंट सेल के पथक द्वारा की गई हैं। साथ ही पुलिस अधीक्षक गढचिरौली श्री. नीलोत्पल सा. ने आवाहन किया हैं की, पुलिस बल विकास कार्यो मे बाधा डालने वाले माओवादीयो के खिलाफ प्रभावी कार्रवाई करने के लिए सक्षम है, वही गढचिरौली पुलिस बल उन लोगो की मदत करेगी जो विकास के मुख्य धारा मे शामील होने और लोकतंत्र मे सम्मान जनक जीवन जीने के लिए इच्छुक है, उन्हे गढचिरौली पुलिस बल पुरा सहयोग करेगा। इस लिए राह भटके हुए माओवादी मुख्यधारा मे शामील होकर शांततापुर्ण जीवन व्यातीत करें।


 

Hardcore Maoist surrenders before Gadchiroli Police and CRPF

– He carried a total reward of Rs. 06 Lakh on himself.

Gadchiroli : Disillusioned by the hollow claims of Maoism and frustrated by their mindless violence against civilians, a large number of members of the banned CPI (Maoist) are attracted to the Surrender cum Rehabilitation Policy implemented by the Government of Maharashtra. Thanks to the effective implementation of this Policy, a total of 662 active Maoists till date have surrendered before the Gadchiroli Police.  Today on 28/05/2024 one hardcore Maoist viz. Ganesh Gatta Punem, ( Aged 35 ) , resident of Bechhapal, Taluka Bhairamgadh, Dist. Bijapur (CG), surrendered before Jagdish Meena, Dy. Inspector General of Police (Ops.), CRPF.  After his surrender, he was transferred to the Gadchiroli Police.

Information about the Surrendered Maoist:

1. Name: Ganesh Gatta Punem

 Tenure in Maoist Organization:

1) Recruited as a member of supply team with Bhairamgadh LOS in 2017 and worked until 2018.

2) Promoted to Dy. Commander in Supply team in 2018 and worked until now.

– Encounters – 02

-In 2017, he was involved in an encounter in the forest area of Mirtur, Bijapur (CG).

– In 2022, he was involved in an encounter in the forest area of Timmenar, Bijapur (CG).

-Reasons for Ganesh’s surrender:

– Lack of medical facility in case of illness.

– Senior Maoists direct to collect money for the development, but they actually use that money for themselves.  It is never used for people’s development.

– Senior Maoists use the poor tribal youths for their own benefit.

– Married Party members cannot live an independent married life.

– Aggressive Anti-Naxal operations of Gadchiroli Police, has broken the back of Maoist activities.

– Senior cadres force to kill innocent tribal’s only on suspicion of being police informer.

–  Reward on his arrest / encounter:

– Maharashtra Government had declared a reward of Rs. 06 lakhs.

– Reward on his surrender:

After surrender, Ganesh Gatta Punem will receive Rs. 05 Lakhs as a reward declared by the Central & Maharashtra Governments for rehabilitation.

Due to the intensified anti-Maoist operations conducted by Gadchiroli police and the golden opportunity provided by the Government of Maharashtra for Maoists to surrender and lead a respectful life, 14 hardcore Maoists have surrendered before the Gadchiroli police from the year 2022 to the year 2024.  The surrender of the said Maoist was facilitated by Int Cell of Range Field Team, CRPF Gadchiroli under Nitin Kumar, Dy. Commandant CRPF.  This action was carried out under the guidance of Dy. Inspector General of Police (Ops.) CRPF Jagdish Meena and Supdt. Of Police, Gadchiroli Neelotpal. Gadchiroli Sp Neelotpal assured that all necessary assistance would be provided to those willing to surrender and join the mainstream society, embracing the ways of democracy. Furthermore, he appealed to active Maoists to renounce the path of violence and adopt the path of peace.

 


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